रीट परीक्षा: REET परीक्षा पेपर लीक मामले में गहलोत सरकार ने माध्यमिक शिक्षा बोर्ड के चैयरमैन पीडी जारोली को किया बर्खास्त
राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत द्वारा रीट परीक्षा में धांधली को लेकर निर्णय लिया गया है कि हाई कोर्ट के रिटायर्ड जज की अध्यक्षता में एक कमेटी गठित की जाएगी।
राजस्थान की सबसे बड़ी शिक्षक भर्ती रीट परीक्षा (reet exam) का पेपर लीक होने के मामले में प्रदेश सरकार ने सख्ती दिखाई है। रीट परीक्षा पेपर मामले को लेकर हर रोज नई खबरें मिल रही हैं। अब तक इस मामले को लेकर कई आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है और साथ ही साथ राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड के चैयरमैन पीडी जारोली को गहलोत सरकार ने बर्खास्त करने का निर्णय लिया है। बीजेपी सरकार द्वारा इस मामले मे सीबीआई जांच करवाने की मांग कर रही है। जिस पर अदालत में भी सीबीआई जॉच की मांग की याचिका डाली गई है।
राजस्थान सरकार ने कल रात की बैठक में 2 बड़े फैसले लिए हैं। पहला चेयरमैन को बर्खास्त करने का और इस फर्जीवाड़े में शामिल सभी कर्मचारियों को भी सस्पेंड करने का फैसला लिया गया है। बैठक में कई निर्णय लिए गए कि आगे इस तरह की घटनाओं पर किस प्रकार रोक लगाई जाए, जिसके लिए कमेटी गठित की गई है।
राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत द्वारा यह निर्णय लिया गया कि हाई कोर्ट के रिटायर्ड जज की अध्यक्षता में एक कमेटी गठित की जाएगी। इस कमेटी द्वारा इस बात पर विचार किया जाएगा कि राजस्थान में इस प्रकार की परीक्षाओं में पेपर लीक पर किस प्रकार रोक लगाई जाए।
कमेटी द्वारा सरकार को यह भी बताया जाएगा कि परीक्षा में सरकार को क्या और कैसे सुधार करने आवश्यक हैं? जिस पर मुख्यमंत्री निवास में शुक्रवार देर रात तक बैठक चली थी। बैठक में शिक्षा मंत्री BD कल्ला, गृहसचिव, मुख्य सचिव और स्पेशल ऑपरेशन ग्रुप के ADG अशोक राठौर भी शामिल थे।
रीट परीक्षा में युवाओं के साथ नाइंसाफी
कल शनिवार जोधपुर में केंद्रीय जल शक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत ने रीट पेपर लीक मामले को लेकर मीडिया से कहा कि आज राजस्थान की जनता और विशेष रूप से युवा, जो सालों से रीट परीक्षा के माध्यम से नौकरी के सपने के लिए लगातार मेहनत कर रहे थे, उनके साथ नाइंसाफी है। युवाओं और उनके परिजनों को मुख्यमंत्री से प्रश्न करना चाहिए कि एक तरफ वह पहले सर्टिफिकेट दे रहे थे कि इस तरह की कोई धांधली नहीं हुई है और जब यह साबित हो गया है, तो इसके बाद भी दोषियों को बचाने के लिए चयनित लोगों को ही सस्पेंड किया जा रहा है। गजेंद्र सिंह शेखावत ने यह भी कहा कि चेयरमैन जारौली को लेकर बड़े-बड़े बयान दिए गए थे, लेकिन अब स्पष्ट हो चुका है कि कार्यालय में से ही पेपर निकालकर बेचा गया। उन्होंने कहा कि मुझे लगता है कि इसमें मंत्रीयों के अलावा और भी कईं लोग शामिल हैं। इस विषय की सीबीआई जांच अवश्य होनी चाहिए, ताकि सारे दोषियों को सजा मिल सके।
क्या है यह मामला ?
राजस्थान में 24 सितंबर 2021 को हुए रीट-2021 के परीक्षा पेपर लीक होने की खबरें सामने आईं हैं। जिसके बाद इस मामले में राजस्थान सरकार द्वारा अब तक 35 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है। वहीं छात्रों द्वारा इस मामले की जांच CBI से कराने को लेकर आंदोलन किए जा रहे हैं। इस मामले में CIC में तैनात राष्ट्रपति पदक प्राप्त असिस्टेंट कमांडेंट विकास जाखड़ भी झुंझुनू में नौकरी छोड़कर भूख हड़ताल पर बैठे हुए हैं।