भारत में 2,261 वर्ग किमी बढ़ा जंगल, सबसे ज्यादा आंध्र प्रदेश में हुई वृद्धि
देश के 80.9 मिलियन हेक्टेयर क्षेत्र में केवल वन और वृक्ष आवरण हैं। जो देश के भौगोलिक क्षेत्रफल का 24.62 % हिस्सा है। SFR 2019 के रिपोर्ट की तुलना करने पर देश के कुल वन और वृक्ष आवरण में 2,261 वर्ग किमी की वृद्धि देखी गई है।
जलवायु परिवर्तन, ग्लोबल वॉर्मिंग और ग्लेशियरों के खत्म होने की चिन्ताजनक खबरों के बीच भारतीय वन सर्वेक्षण (Forest Survey of India) द्वारा एक अच्छी खबर सामने आई है। भारत में बीते दो वर्षों में हरियाली बढ़ी हैं। भारतीय वन सर्वेक्षण द्वारा बनाए इंडिया स्टेट ऑफ फॉरेस्ट रिपोर्ट (ISFR) 2021 के अनुसार 2019 के रिपोर्ट की तुलना करने पर देश के कुल वन और वृक्ष आवरण में 2,261 वर्ग किलोमीटर की बढ़ौतरी हुई है। फिलहाल देश में कुल वन और वृक्ष आवरण 80.9 मिलियन हेक्टेयर हैं, जो देश के भौगोलिक क्षेत्र का 24.62% ही है।
पर्यावरण और वन मंत्री भूपेंद्र यादव का ट्वीट
वन, पर्यावरण और जलवायु परिवर्तन मंत्री भूपेंद्र यादव ने अपने ट्विटर अकाउंट पर ISFR की रिपोर्ट जारी करते हुए बताया कि, देश के 17 राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों का 33% से अधिक भौगोलिक क्षेत्र वन आच्छादित है। साथ ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में सरकार का ध्यान केवल वनों के संरक्षण पर ही नहीं बल्कि सरकार वनों को मात्रात्मक रूप के साथ ही गुणात्मक रूप से समृद्ध करने के लिए भी काम कर रही है।
https://twitter.com/byadavbjp/status/1481539360738922497?t=J1F_VVLAARYiBGqrfGGE_g&s=19
इंडिया स्टेट ऑफ फॉरेस्ट रिपोर्ट भारत के जंगलों और जलवायु परिवर्तन वाले क्षेत्रों में SAR डेटा का उपयोग करके वन आवरण, वृक्ष आवरण, मैंग्रोव कवर, बढ़ते स्टॉक, कार्बन स्टॉक, जंगल में लगने वाली आग की निगरानी, बाघ आरक्षित क्षेत्रों में फॉरेस्ट कवर, बायोमास के जमीनी अनुमानों के बारे में पता लगा कर जानकारी देता है।
फॉरेस्ट सर्वे रिपोर्ट की कुछ महत्वपूर्ण बातें
देश के 80.9 मिलियन हेक्टेयर क्षेत्र में केवल वन और वृक्ष आवरण हैं। जो देश के भौगोलिक क्षेत्रफल का 24.62 % हिस्सा है। SFR 2019 के रिपोर्ट की तुलना करने पर देश के कुल वन और वृक्ष आवरण में 2,261 वर्ग किमी की वृद्धि देखी गई है। जिसमें से वन के क्षेत्र में 1,540 वर्ग किमी और वृक्ष आवरण में 721 वर्ग किमी की वृद्धि पाई गई है।
इसके अलावा खुले जंगल के बाद बहुत घने जंगल में वन आवरण भी बढ़े हैं। सबसे ज्यादा वन क्षेत्र आंध्र प्रदेश में 647 वर्ग किमी बढ़ा है। इसके बाद तेलंगाना में 632 वर्ग किमी और ओडिशा में 537 वर्ग किमी की बढ़ोत्तरी हुई है।
तो वहीं क्षेत्रफल के हिसाब से मध्य प्रदेश में देश का सबसे बड़ा जंगल क्षेत्र है। उसके बाद अरुणाचल प्रदेश, छत्तीसगढ़, ओडिशा और महाराष्ट्र में वन क्षेत्र पाएं जाते हैं।
इन राज्यों में है 75% से ज्यादा जंगल क्षेत्र
लक्षद्वीप, मिजोरम, अंडमान और निकोबार द्वीप समूह, अरुणाचल प्रदेश और मेघालय जैसे पांच राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में 75% से भी अधिक जगल क्षेत्र मौजूद हैं। इसके अलावा देश के 12 राज्यों तथा केंद्र शासित प्रदेशों जैसे मणिपुर, नागालैंड, त्रिपुरा, गोवा, केरल, सिक्किम, उत्तराखंड, छत्तीसगढ़, दादरा और नगर हवेली, दमन और दीव, असम, ओडिशा में वन क्षेत्र 33% से 75% के बीच है।
देश में बांस के स्टॉक भी बढ़े
2019 में आई रिपोर्ट की तुलना में बांस की कुल संख्या में 13,882 मिलियन की वृद्धि हुई है। वर्तमान मूल्यांकन में पिछले मूल्यांकन की तुलना करने पर बांस की संख्या में लगभग 124 मिलियन टन की वृद्धि देखी गई हैं।
मैंग्रोव कवर और कार्बन स्टॉक में तेजी आई
देश में कुल मैंग्रोव कवर या तटीव वन क्षेत्र 4,992 वर्ग किमी है, जो देश के कुल भौगोलिक क्षेत्र का 0.15% है। 2019 की रिपोर्ट से तुलना करने पर मैंग्रोव कवर में 17 वर्ग किमी की वृद्धि देखी गई हैं। उसके बाद ओडिशा में 8 वर्ग किमी, महाराष्ट्र में 4 वर्ग किमी और कर्नाटक में 3 वर्ग किमी की वृद्धि हुई हैं।
तो वहीं देश के जंगलों में कुल 7,204 मिलियन टन कार्बन स्टॉक होने का अनुमान हैं। 2019 की तुलना करने से कार्बन स्टॉक में 79.4 मिलियन टन की वृद्धि पाई गई हैं। जबकि कार्बन स्टॉक में वार्षिक वृद्धि 39.7 मिलियन टन हैं।
भौगोलिक क्षेत्र के हिसाब से सबसे ज्यादा वन वाले राज्य
राज्य वन क्षेत्र
मिजोरम 84.53%
अरुणाचल 79.33%
मेघालय 76.00%
मणिपुर 74.34%
नागालैंड 73.90%